भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच 6 दिसंबर से शुरू होने वाले डे-नाइट टेस्ट मैच से पहले बीसीसीआई BCCI ने बड़ा फैसला लिया है। भारतीय क्रिकेट टीम के प्रैक्टिस सेशन में फैंस को आने की इजाजत नहीं होगी। यह फैसला तब लिया गया जब यह बात सामने आई कि अभ्यास सेशन के दौरान भारतीय खिलाड़ियों को असामान्य टिप्पणियों और गाली-गलौज का सामना करना पड़ा।
बीसीसीआई ने भारत और ऑस्ट्रेलिया के बीच खेले जाने वाले बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी का दूसरा टेस्ट मैच एडिलेड में होगा और यह मैच पिंक बॉल से खेला जाएगा। इसके लिए टीम इंडिया जोर-शोर से तैयारी कर रही है। हाल ही में भारतीय टीम ने एडिलेड में ओपन प्रैक्टिस सेशन रखा था, लेकिन अब बीसीसीआई BCCI ने फैसला किया है कि प्रैक्टिस सेशन में फैंस को जाने की इजाजत नहीं होगी। इस फैसले के पीछे की वजह सामने आई है, कुछ चौंकाने वाली बातें सामने आई हैं, जिन्हें जानकर हर कोई हैरान रह गया।
अभ्यास सेशन में क्या हुआ?
बीसीसीआई के एक विशेषज्ञ ने पीटीआई से कहा, “यह पूरी तरह से अराजकता थी। ऑस्ट्रेलियाई अभ्यास सत्र में 70 से अधिक लोग नहीं थे, लेकिन भारतीय टीम के अभ्यास सत्र में 3000 से अधिक लोग पहुंचे, जिसकी किसी ने कल्पना भी नहीं की थी। पहले सिडनी टेस्ट के लिए एक खुला अभ्यास सत्र आयोजित किया जाना था, लेकिन अब इसे रद्द कर दिया गया है। इसका कारण यह है कि यहां की गई आपत्तिजनक टिप्पणियों और असंवेदनशील टिप्पणियों से खिलाड़ी बहुत आहत हुए हैं।”
बीसीसीआई क्या प्रतिक्रियाएं थीं?
क्रेडिबल ने यह भी कहा कि अभ्यास सत्र के दौरान कुछ प्रशंसकों ने रोहित शर्मा और ऋषभ पंत को छक्के मारने के लिए उकसाया। कुछ प्रशंसकों ने उनके स्वास्थ्य और काया पर अश्लील टिप्पणियां कीं। इस बीच, विराट कोहली और शुभमन गिल को भीड़ ने घेर लिया और कुछ लोग फेसबुक पर वीडियो बना रहे थे और ऊंची आवाज में बोल रहे थे, जिससे बल्लेबाजों का खेल बाधित हो रहा था। एक प्रशंसक लगातार एक खिलाड़ी से गुजराती में “हाय” कहने का आग्रह कर रहा था।
बीसीसीआई का फैसला
इन घटनाओं को देखते हुए बीसीसीआई ने तुरंत कार्रवाई की और भारतीय टीम के अभ्यास सत्र में प्रशंसकों के प्रवेश पर प्रतिबंध लगा दिया। यह खिलाड़ियों की मानसिक स्थिति और शारीरिक आराम को बढ़ाने का एक प्रयास है, ताकि वे आगामी टेस्ट मैच में अपने प्रदर्शन पर ध्यान केंद्रित कर सकें।
भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ बहुप्रतीक्षित डे-नाइट टेस्ट मैच से पहले भारतीय क्रिकेट टीम के अभ्यास सत्र में प्रशंसकों के भाग लेने पर प्रतिबंध लगाने का फैसला किया है। एडिलेड में एक खुले अभ्यास सत्र के दौरान कई परेशान करने वाली घटनाओं के बाद यह निर्णय लिया गया, जिससे भारतीय खिलाड़ी परेशान और अपमानित महसूस कर रहे थे।
बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी का आगामी दूसरा मैच एडिलेड में खेला जाएगा,
और भारतीय टीम इसके लिए तैयारी कर रही है, क्योंकि उन्हें पता है कि उन्हें गुलाबी गेंद से खेलने की चुनौती का सामना करना पड़ेगा। टीम ने पहले एक खुला अभ्यास सत्र आयोजित किया था, लेकिन जो एक नियमित प्रशिक्षण सत्र होना चाहिए था, वह अराजकता में बदल गया।
निष्कर्ष
बीसीसीआई का यह फैसला खिलाड़ियों की सुरक्षा और उनकी मानसिक शांति को प्राथमिकता देना है। इस फैसले से यह साफ है कि भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड अपने खिलाड़ियों के स्वास्थ्य को सबसे पहले रखता है और उनके सिस्टम को बिगाड़ने वाले किसी भी व्यवहार को बर्दाश्त नहीं करेगा। अब देखना यह है कि प्रशंसकों के इस कदम के बाद भारतीय टीम कैसा खेलती है और क्या यह मैच भारतीय क्रिकेट के लिए एक शानदार पल साबित होगा।